Haldwani : दिल्ली एनसीआर के प्रमुख स्वास्थ्य सेवा प्रदाता वैशाली स्थित मैक्स सुपर स्पेशिएलिटी हॉस्पिटल के डॉक्टर्स ने हल्द्वानी की एक 57 वर्षीय महिला की जान बचाई। यह जानकारी आज पत्रकार वार्ता के दौरान मैक्स सुपर स्पेशिएलिटी हॉस्पिटल वैशाली के गैस्ट्रोइंटेस्टाइनल एंड हेपेटोपेनक्रिएटोबिलिअरी ( जीआई एंड एचपीबी ) सर्जिकल ऑन्कोलाजी के निदेशक डॉक्टर विवेक मंगला ने दी।
उन्होंने बताया कि कि जब महिला उनके पास पहुंची तो एडवांस्ड गॉल ब्लेडर कैंसर से पीड़ित थी। डॉक्टर्स ने गॉल ब्लैडर हटाने के लिए टेलर्ड ट्रीटमेंट पद्धति से सर्जरी की। महिला के बायोप्सी टेस्ट की रिपोर्ट पॉजिटिव थी और उसके एडेनो कैंसर से पीड़ित होने का पता चला था। महिला के स्वास्थ्य पर नजर रखी जा रही थी और फॉलोअप के दौरान पीईटी सीटी कराई गई, जिसमें लिवर के दाहिने साइड की रक्त कोशिका में लिम्फ नोड्स के साथ ही एक बड़ा अवशिष्ट ट्यूमर दिखाई दिया।
मैक्स सुपर स्पेशिएलिटी हॉस्पिटल वैशाली के गैस्ट्रोइंटेस्टाइनल एंड हेपेटोपेनक्रिएटोबिलिअरी (जीआई एंड एचपीबी ) सर्जिकल ऑन्कोलाजी के निदेशक डॉक्टर विवेक मंगला के नेतृत्व में डॉक्टर्स की एक टीम ने कीमोथेरेपी के बाद पोर्टल वेन एम्बोलिजेशन और फिर सर्जरी की सलाह दी। जिसके बाद मरीज की सर्जरी कर सफलता हासिल की। आज वह मरीज को साथ लेकर आये। मरीज ने बताया कि वह पूरी तरह से स्वस्थ्य है। उन्हें पहले काफी परेशानी हो रही थी लेकिन अब उपचार के बाद उन्हें आराम है।
डा. मंगला ने बताया कि ऑपरेशन के बाद मरीज ने अच्छी तरह से रिकवरी की है और वह ट्यूमर मुक्त है। जीवन के लिए इस तरह की खतरनाक बीमारी जिसमें हर गुजरते दिन के साथ मेटास्टेसिस के कारण स्थिति खराब होती जाती है। कोलेस्टेक्टोमी के जरिए हटाए जाने वाले हर गॉल ब्लैडर को बायोप्सी टेस्ट के लिए भेजा जाता है और करीब एक फीसदी मरीजों में ही हिडन कैंसर हो सकता है और अगर इस स्तर पर भी बीमारी का पता चले तो उपचार किया जा सकता है।एक मरीज को लेकर एडवांस्ड ट्रीटमेंट प्लान इस तरह के मामलों में चमत्कार कर सकता है। कैंसर के मरीजों का उपचार करने के कई दशक के अनुभव के साथ मैक्स सुपर स्पेशिएलिटी हॉस्पिटल , वैशाली मरीजों को विश्व स्तरीय स्वास्थ्य सेवाएं प्रदान करने में हमेशा अग्रणी रहा है।
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